रोहिणी सेक्टर -34 का पॉकेट तीन। बाहर से देखने में ये ऊँची इमारतें डीडीए के द्वारा किये गये निर्माणक कार्यों को बखान करते हैं लेकिन जरा जमीन पर नज़र डालें तो ये डीडीए की पोल भी खोलते हैं। जहाँ तक नज़र जाती है वहां तक जलजमाव। ऐसा लगता है मानो झील के बीचोबीच डीडीए ने पूरी कॉलोनी बसा दी है। सोमवार रात की मूसलाधार बारिश ने ऐसा हाल किया की महज एक रात में ही ये कॉलोनी जलमग्न हो गई। काम वाले ऑफिस नहीं जा पाए और बच्चों को स्कूल की छुट्टी करनी पड़ी। कारण — सुबह घर से बाहर निकलते ही घुटने भर पानी इनका स्वागत कर रहा था।