–दिल्ली दर्पण ब्यूरो
आज केशव पुरम ज़ोन दिल्ली नगर निगम में सफाई अधीक्षक, उद्योग उद्यान विभाग के अधिकारी, और मेंटेनेंस विभाग के अधिकारियों की एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जिसकी अध्यक्षता ज़ोन अध्यक्ष श्री योगेश वर्मा ने की। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य स्वच्छता को बनाए रखना और पर्यावरण को सुरक्षित करना था।
बैठक में यह निर्णय लिया गया कि नवरात्रि के उपरांत जब श्रद्धालु अपने घरों में स्थापित किए गए मूर्तियों और खेतड़ी को नालों या यमुना नदी में बहा देते हैं, तो इससे पर्यावरण को नुकसान पहुंचता है और साथ ही धार्मिक भावनाओं का भी अनादर होता है।

इस समस्या के समाधान के लिए सभी सफाई अधीक्षकों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने क्षेत्र के सभी मंदिरों से संपर्क करें। प्रत्येक मंदिर के बाहर दो ड्रम लगाए जाएंगे: एक पर “मूर्ति” और दूसरे पर “खेतड़ी” लिखा होगा। श्रद्धालु लोग अपनी मूर्तियों और खेतड़ी को इन ड्रमों में ही रखें, ताकि पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने वाली कोई भी गतिविधि न हो। और खेतड़ी के लिए रखे गए बर्तन को अपने घर की छत पर पक्षियों के पानी के लिए उपयोग करें। इस बात की सूचना सभी क्षेत्रीय निगम पार्षद अपने क्षेत्र में प्रसारित करेंगे।
इसके अलावा, मेंटेनेंस विभाग के अधिकारी इन मूर्तियों और खेतड़ी को एकत्र कर अपने पार्कों में विधिपूर्वक खड्डा खोदकर उन्हें श्रद्धा पूर्वक विसर्जन करेंगे।। खेतड़ी को खाद में परिवर्तित कर पर्यावरण की सुरक्षा में योगदान दिया जाएगा।

अधिकारियों को यह भी निर्देश दिया गया है कि जहां भी नाले या नहर के पास मूर्तियों या खेतड़ी को डालने की कोई घटना होती है, वहां दो ड्रम लगाए जाएं और उन स्थानों से अनावश्यक सामग्री को तुरंत हटा दिया जाए।
यदि कोई व्यक्ति इन निर्देशों का पालन नहीं करता है, तो उसके खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाएगी और भारी जुर्माना लगाया जाएगा।
ज़ोन अध्यक्ष, श्री योगेश वर्मा ने कहा:
“हमारे धर्म और पर्यावरण दोनों की सुरक्षा आवश्यक है। हमें अपने धार्मिक भावनाओं का सम्मान करते हुए पर्यावरण को नुकसान नहीं पहुंचाना चाहिए। यह पहल स्वच्छता और हरित वातावरण को बनाए रखने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।”