सीएस राजपूत
ऑल इंडिया जन आंदोलन संघर्ष न्याय की अयोध्या बैठक में लिया गया है निर्णयउत्तर प्रदेश के अयोध्या शहर में ऑल इंडिया जन आंदोलन संघर्ष न्याय मोर्चा की 17 और 18 दिसंबर को हुई दो दिवसीय बैठक में वैसे तो कई निर्णय लिये गये हैं पर बड़ा और महत्वपूर्ण निर्णय दिल्ली जोन के नोएडा ऑफिस पर बड़े आंदोलन का लिया गया है। संगठन से जुड़े उत्तर प्रदेश के नेताओं ने बाकायदा नोएडा पुलिस प्रशासन के साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर नोएडा ऑफिस पर होने वाले बड़े आंदोलन के लिए चेता दिया है।
प्रदेश अध्यक्ष संसार सिंह की अगुआई में होने वाले इस आंदोलन के प्रति नोएडा पुलिस प्रशासन को चेताते हुए लिखा गया है कि 15 नवम्बर को दिये गये उनके अल्टीमेटम का समय पूरा हो चुका है पर सहारा प्रबंधन ने भुगतान के मामले में कोई जवाब नहीं दिया। इसलिए आंदोलन करने से पहले वे लोग पुलिस प्रशासन को इस बात की सूचना देना चाहते हैं कि नोएडा ऑफिस पर होने वाले इस बड़े आंदोलन की सभी जिम्मेदारी और जवाबदेही पुलिस प्रशासन की होगी, क्योंकि अल्टीमेटम देते समय नोएडा का पुलिस प्रशासन भी वहां पर मौजूद था।
नोएडा ऑफिस पर होने वाले इस आंदोलन के बारे में उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष संसार सिंह ने बताया कि उन लोगों ने आंदोलन की पूरी तैयारी कर ली है। आंदोलन करने से पहले उन्होंने नोएडा पुलिस प्रशासन के साथ ही उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी चेता दिया है कि यह आंदोलन उग्र भी हो सकता है, क्योंकि ये लोग इस बार ट्रैक्टर ट्रालियों के साथ आएंगे और नोएडा ऑफिस के गेट पर डेरा डाल देंगे। जब तक उन्हें उनका भुगतान नहीं हो जाएगा तब तक वह नोएडा के गेट पर ही डेरा डाले रहेंगे। संसार सिंह का कहना था आंदोलन पूरी तरह से अहिंसात्मक रहेगा पर सहारा प्रबंधन ने आंदोलन को गंभीरता से नहीं लिया तो वे लोग ट्रैक्टर ट्रालियों के साथ सहारा ऑफिस के परिसर में घुसने से भी परहेज नहीं करेंगे और ऑफिस के अंदर ही धरना देंगे। उनका कहना था कि यह धरना अनिश्चितकालीन रहेगा। जब तक उनका भुगतान नहीं होगा तब वे वहां से नहीं हिलेंगे।
दरअसल 15 नवम्बर को नोएडा के सेक्टर 11 स्थित सहारा ऑफिस पर जब ऑल इंडिया जनांदोलन संघर्ष न्याय मोर्चा के कार्यकर्ता जुटे थे तो सहारा प्रबंधन में हड़कंप मच गया था। दिनभर चले प्रदर्शन के बाद सहारा पैराबैकिंग के उच्च प्रबंधन और आंदोलनकारियों की वार्ता पुलिस प्रशासन की उपस्थिति में हुई थी। सहारा प्रबंधन की ओर से कोई जवाब न देने पर आंदोलनकारियों ने सहारा प्रबंधन को 15 दिन का अल्टीमेटम दिया था। आंदोलनकारियों का कहना था कि यदि 15 दिन के अंदर उनका भुगतान नहीं हुआ तो वे लोग ट्रैक्टर ट्रालियों लेकर नोएडा ऑफिस को घरेंगे।
दरअसल 30 दिसंबर को आंदोलनकारियों का अल्टीमेटम का समय पूरा हो चुका है। नोएडा आंदोलन के साथ ही और दूसरे मुद्दों को लेकर 17-18 दिसंबर को उत्तर प्रदेश अयोध्या में ऑल इंडिया जन आंदोलन संघर्ष न्याय नेतृत्व की बैठक हुई और इस बैठक में सहारा इंडिया के साथ ही केंद्र सरकार और प्रदेशों की सरकारों के खिलाफ भी सड़कों पर उतरने का निर्णय तो लिया ही गया पर इस बैठक में सबसे बड़ा निर्णय नोएडा ऑफिस पर बड़ा आंदोलन करने का सबसे महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया।
दरअसल नोएडा ऑफिस पर होने वाले आंदोलन को इसलिए ज्यादा महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि यहां पर ही मीडिया का ऑफिस है। सहारा इंडिया के चेयरमैन सुब्रत राय इसी मीडिया के बलबूते राजनीतिक नेताओं से अपने काम कराते हंै। इसी मीडिया की वजह से वह विभिन्न प्रदेशों की सरकारों और पुलिस प्रशासन को मैनेज करते हैं।
देशभर के विभिन्न राज्यों के विभिन्न जिलों में डीएम और एसएसपी को मैनेज कर आंदोलन को दबाने का का प्रयास भी वह इस मीडिया के माध्यम से करते हंै। दरअसल सहारा मीडिया में पुराने पत्रकार हैं, उनके संबंध राजनेताओं के साथ ही ब्यूरोक्रेट्स से भी अच्छे हैं। यही वजह है कि सुब्रत राय सहारा मीडिया में बीच-बीच में वेतन दिलवाकर माहौल बनाये हुए है। आजकल नोएडा ऑफिस में मीडिया हेड सुमित राय की चल रही है। उन्होंने परिसर के दोनों गेट पूरी तरह से बंद करवा रखे हैं। पता तो यह भी चला है कि नोएडा परिसर में काम करने वाले कर्मचारी आठ घंटे की ड्यूटी पूरी करने के बाद ही ऑफिस से निकलते हंै। अब देखना यह होगा कि नोएडा ऑफिस में होने वाले आंदोलन का स्वरूप होगा।