खाप पंचायतों में माहौल बनाकर बढ़ाई बीजेपी और आरएसएस की बेचैनी
बीजेपी के सांसद और कुश्ती फेडरेशन के निर्वतमान अध्यक्ष बृजभूषण शरण की गिरफ्तारी और पहलवानों के पक्ष में कुरुक्षेत्र में हुई खाप पंचायत में जिस तरह से हंगामा हुआ और उसे भाकियू प्रवक्ता राकेश टिकैत ने संभाला। जिस तरह से राकेश टिकट ने मुजफ्फरनगर की खाप पंचायत में पहलवानों पर दिल्ली पुलिस की दमनकारी कार्रवाई पर नाराजगी व्यक्त करते हुए बृजभूषण शरण सिंह और केंद्र सरकार को ललकारा। पंचायत में बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ हुंकार भरी। जिस तरह से गंगा में मेडल बहाने जा रहे पहलवानों को मनाने के लिए अपने भाई नरेश टिकैत को भेजा और पहलवानों की जाति तिरंगा बताया। बृजभूषण शरण सिंह की अयोध्या रैली में पहलवानों को साथ ले चलने का ऐलान किया। उसके चलते ही बृजभूषण शरण सिंह की न केवल रैली रद्द हुई बल्कि उनको मीडिया में आने से मना किया गया। दरअसल बीजेपी और केंद्र सरकार राकेश टिकैत पर खार खा रही है। इसकी बड़ी वजह यह है कि केंद्र सरकार और दिल्ली पुलिस ने मिलकर दिल्ली जंतर मंतर पर से इन पहलवानों का आंदोलन खत्म कर दिया था।
राकेश टिकैत ने अपने बड़े भाई और बालियान खाप के चौधरी नरेश टिकैत को हरिद्वार में भेजकर मामले को संभाल लिया। मुजफ्फरनगर में आपात खाप पंचायत बुलाकर माहौल को बना दिया। अब कुरुक्षेत्र के बाद कल यानी कि 4 जून को सोनीपत के गोहाना, 11 जून को मुजफ्फरनगर और 15 से 18 तक हरिद्वार में पंचायत। 9 तक बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी नहीं होती है तो फिर बड़ा आंदोलन। इन सब बातों से बीजेपी और आरएसएस बैचैन हो उठे हैं। एक और खाप पंचायतों में माहौल खराब किया जा रहा है वहीं बीजेपी मामले को मैनेज करने में भी लग गई है। कुल मिलाकर राकेश टिकैत बीजपी आंख की किरकिरी बने हुए हैं।