बवाना में दो दिन पहले भूरे लाल कारोबारियों और अधिकारीयों को समझा कर और धमका कर गए तो उसका नतीजा सामने है।जहाँ तक नजर जाती है सडकों पर भीड़ ही भीड़ है।ये भीड़ बवाना के कारोबारियों की है जो दिल्ली सरकार और बवानाइंफ्रा की तानाशाही से तंग आ गायें है ।आज बवाना में हज़ारों की संख्या में कारोबारीसडकों पर आकर प्रदर्शन किया। तो आरोप लगाया की बवानाइंफ्राडीएसआईडीसी अपनी कमियों को छुपाकर कोर्ट और भूरे लाल जी को गुमराह कर रही है।जिस कूड़े को उठाने की जिम्मेदारी इन कंपनियों पर वह उसे पूरा नहीं कर रही है और झूठे आरोप लगाकर फैक्ट्रियों को सील कर रही है।बवाना में दो दर्जन से ज्यादा फैक्ट्रियों को सील कर दिया गया।बवानाफैक्ट्रीज वेलफेयर एसोसिएशन ने सवाल उठाया इंडस्ट्रियलएरिया से कचरा उठाना की जिम्मेदारी किसकी है? भूरे लाल जी के आदेश का भी पालन नहीं हो रहा।
बवानाइंडस्ट्रियलएरिया में कारोबारियों की इतनी बड़ी संख्या और हंगामा पहले कभी नहीं देखा।जाहिर है फेक्टरीमालिकबवानाइंफ्रा और डीएसआईडीसी की मनमानियों से तंग आ चुकें है।बवानानरेला में सड़कें , पानी जैसी सुविधाएं नहीं है, सुरक्षा नहीं है लेकिन बवानाइंफ्रा और डीएसआईडीसी उनसे उगाही कर रहे है।इनके खिलाफ जो भी अवाजा उठता है उसे करवाई की धमकी देकर उसकी आवाज को दबा दिया जाता है।इनकी नाराजगी दिल्ली दरकार से भी है।आरोप है की दिल्ली सरकार के मंत्री सतेंद्र जैन बवाना को फ्रीहोल्ड करवाने की एवेज में शर्त रख रहें है की लोकसभा चुनाव में इनका एमपी बनवाना जरूरी है।