Thursday, November 21, 2024
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खुशखबरी – आयुष मंत्रालय ने दी कोरोना की दवा ‘क्लेविरा’ को मंजूरी

अविशा मिश्रा, संवाददाता

नई दिल्ली। जहां दिल्ली में कोरोना को लेकर अफरा तफरी मची हुई है। वहीं कोरोना के मरीजों के लिए खुशखबरी है। आयुष मंत्रालय ने कोरोना की एक अन्य दवा क्लेविरा के प्रयोग की अनुमति दे दी है। कोरोना में सहायक इलाज के लिए क्लेविरा पर बीते दो साल से शोध किया जा रहा था। इससे पहले आयुष मंत्रालय ने कोरोना के हल्के से मध्यम इलाज के महत्व को देखते हुए आयुष 62 दवा की मंजूरी दी थी।

कोविड पॉजिटिव मरीजों पर किए क्लेविरा के शोध में देखा गया कि फार्मूलेशन के 15 दिन प्रयोग करने पर मरीज की रिपोर्ट में सकारात्मक बदलाव देखा गया। जानकारी देते हुए वर्चुअल प्रेस कांफ्रेंस में उपस्थित एपेक्स लेबोरेटरी की कार्यपालन निदेशक सुभाषिनी वनांनगौमुदी ने बताया कि कोरोना अनुरूपी व्यवहार का पालन करते हुए सर्पोर्टिव या सहायक इलाज के तौर पर प्रयोग किए गए क्लेविरा के सेवन के बाद कोविड के मरीजों को अस्पताल में भर्ती करने की जरूरत को कम किया जा सकता है तथा संक्रमण को हल्के से मध्यम किया जा सकता है। यह भारत की पहली ऐसी दवा है जिसे प्रमाण के कई चरणों को पार किया है इसमें सीसीआरएएस (द सेंट्रल काउंसिल फॉर रिसर्च इन आयुर्वेदिक साइंस) आईटीआरसी ( इंटर डिसीप्लिनरी टेक्निकल रिवीव कमेटी) और आयुष मंत्रालय द्वारा गठित 12 सदस्यों की एक अन्य कमेटी द्वारा दवा को प्रमाणित किया गया है।

इस कमेटी का नेतृत्व एम्स के फार्माकोलॉजी विभाग के पूर्व प्रोफेसर डॉ. एसके मलिक द्वारा किया गया। पपीते, गुडुची और जेंजेरेला के सत से तैयार क्लेविरा को एनालजेसिक, एंटीपायरेटिक और थांब्रोबायसोइटोपेनिया को रोकने में प्रभावकारी माना गया है। किडनी और लिवर के मरीज भी इसका प्रयोग अन्य दवाओं के साथ सुरक्षित रूप से कर सकते हैं। क्लेविरा का प्रयोग फ्रंट लाइन वर्कर और कोविड मरीजों की देखभाल करने वाले ऐसे वर्कर भी कर सकते हैं जो संक्रमण के जोखिम के बीच काम करते हैं। दो साल की अधिक उम्र के सभी लोगों के लिए क्लेविरा पूरी तरह सुरक्षित है। क्लेविरा की हर टैबलेट केवल 11 रुपए की होगी। 14 दिन के इलाज के तौर पर एक मरीज के इलाज में कुल 400 रुपए खर्च होगें।

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