बबीता चौरसिया
नई दिल्ली। सर्दियों के मौसम में दिल्ली में प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ जाता है। ऐसे में वाहनों से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए परिवहन विभाग की आरे से शिकंजा कसने लगा है। वाहनों में ईंधन भरवाने के लिए पहुंचने वालों से प्रदूषण नियंत्रण पत्र (पीयूसीसी) मांगी जा रही है, और न होने पर चालान काटा जा रहा है। वाहनों से होने वाले प्रदूषण पर कार्यवाही के लिए 500 टीमें जमीनी स्तर पर काम कर रही है।
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प्रदूषण को कम करने के लिए नियमों का पालन सख्ती से हो सके, इसलिए इन टीमों को तैनात किया गया है। पिछले एक महीने में वाहनों में प्रदूषण जांच कराने वालों की संख्या दोगुना हो गई है।
दिल्ली के अलग-अलग पेट्रोल पंप पर इस विभाग की 4 सदस्यों की टीम तैनात की गई हैं। वाहन के प्रदूषण प्रमाण पत्र की जांच के लिए 7 अक्टूबर से इस अभियान की शुरूआत की गई है। अभियान के तहत पेट्रोल, डीजल और सीएनजी स्टेशनों पर पीयूसीसी की जांच की जा रही है।
तो वहीं अगर किसी वाहन की प्रमाण वैधता खत्म हो गई है, तो इसकी जानकारी स्वयं विभाग को मिल जाती है। जिससे विभाग की नजरें इन वाहनों पर बनी रहती है। परिवहन विभाग के अनुसार 17 अक्टूबर तक करीब 62 हजार वाहनों की जांच की गई है, जिनमें से 4,006 वाहनों का प्रमाण पत्र नहीं था, और उन पर जुर्माना लगाया गया। जिन पुराने वाहनों से प्रदूषण हो रहा था उन पर भी जुर्माना लगाया गया।
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