दिल्ली दर्पण टीवी ब्यूरो
गांधी ने भारत के लोगों की मानसिकता को ही नहीं अपितु पूरी दुनिया की सोच को बदला। उन्होंने चरखा और औद्योगिक जगत को इसकी चुनौती के बारे में बताया। यह बात डीयू के गांधी भवन में आयोजित कार्यक्रम में उत्तराखंड के राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल (रिटायर्ड) गुरमीत सिंह ने दिल्ली विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह के अवसर पर गुरुवार को कही। उन्होंने कहा कि गांधी हमारे रोल मॉडल हैं। आजादी के अमृतकाल में उनके विचारों को लेकर चिंतन करने की जरूरत है।
उन्होंने आधुनिक समय में महात्मा गांधी की प्रासंगिकता पर जोर दिया और बताया कि कैसे महात्मा गांधी ने सभी भारतीयों को एक सूत्र में पिरोया। आज दुनिया भी गांधी जी को याद करती है चाहे वह रूस और यूक्रेन के बीच, चीन और ताइवान के बीच संघर्ष हो। इस अवसर पर सुलभ इंटरनेशनल के फाउंडर डॉ. बिंदेश्वर पाठक ने भी अपना व्याखान प्रस्तुत किया। दिल्ली विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. योगेश सिंह ने अतिथियों का स्वागत किया और कहा कि गांधी भारत के मूल विचार में नजर आते हैं। भारत सरकार उनके अंतिम व्यक्ति के हित में काम करने के आह्वान पर अमल करते हुए अंतोदय तक योजनाओं का लाभ पहुंचा रही है।