जरूरतमंद लोगों के लिए काम कर रही सेवा भारती : मिथिलेश, दिल्ली प्रभारी ने कहा-दिल्ली में 173 नगरों में लगे नेत्र जांच शिविर
ज्ञान एवेन्यू और तारा संस्था के साथ मिलकर लगाया निशुल्क नेत्र जांच शिविर, चश्मे भी दिए फ्री में, मोतियाबिंद के भी किये गए ऑपरेशन, मकर संक्रांति पर मनाते हैं सेवा उत्सव : महावीर, आंखों की रौशनी देना मतलब दूसरी जिंदगी देना : अमित, दिल्ली में किये जा चुके हैं 30000 ऑपरेशन : संजय
दिल्ली दर्पण टीवी ब्यूरो
अशोक विहार फेस-2 के सावन पार्क में सेवा भारती ज्ञान एवेन्यू ने तारा संस्थान साथ मिलाकर नेत्र जांच शिविर का आयोजन किया। इस शिविर में निशुल्क रूप से न केवल आंखों की जांच भी की गई साथ ही निशुल्क रूप से चश्मे भी दिए गए। जानकारी मिली है कि सेवा भारती ने दिल्ली में जगह जगह इस तरह के शिविर लगाए हैं। यह शिविर सेवा भारती के सप्ताह भर से चल रहे सेवा उत्सव के तहत लगाया गया था।
दिल्ली दर्पण टीवी से बात करते हुए सेवा भारती के दिल्ली प्रांत के प्रभारी मिथलेश जी ने बताया कि सेवा भारती जरूरतमंद लोगों के लिए तरह तरह के कार्यक्रम चलाती रहती है। नेत्र जांच शिविर के बारे में उन्होंने बताया कि दिल्ली के 30 जिलों के 173 नगरों में इस तरह के शिविर लगे हैं। ये शिविर ज्ञान एवेन्यू और तारा नेत्र संस्थान के साथ मिलकर लगाए गए हैं। इन शिविरों में निशुल्क रूप से आंखों की जंक के अलावा निशुल्क चश्मा भी दिया जा रहा है। उन्होंने कहा यदि कोई व्यक्ति मोतियाबिंद का ऑपरेशन भी करवाना चाहता है तो उसका ऑपरेशन भी निःशुल्क रूप से होगा। उन्होंने बताया कि ज्ञान एवेन्यू के लगभग 400-500 डॉक्टर इन शिविरों में सहयोग कर रहे हैं।
ड़ॉ रामकुमार ने कहा कि सेवा भारती समर्पण भाव से इस तरह के शिविर लगाती है। उनका कहना था कि इस तरह के शिविरों से जरूरतमंद और गरीब लोगों को बहुत फायदा मिलता है एक तो उनका समय बचता है दूसरा आर्थिक रूप से भी उन्हें इसका लाभ होता है। सरकार के स्वास्थ्य सेवा को निचले आदमी तक न ला पाने के प्रश्न पर उन्होंने कहा कि सरकार ने स्वास्थ्य विभाग के लोग नौकरी समझ कर काम करते हैं जबकि सेवा भारती में सेवा का भाव है।
सेवा भारती से जुड़े महावीर मित्तल ने बताया कि ज्ञान एवेन्यू के सौजन्य से तारा संस्थान के साथ मिलकर यह नेत्र जांच शिविर लगाया गया है। इस शिविर में सब कुछ निशुल्क है। शिविर में आने वाले लोगों के लिए भी खाना भी फ्री है। स्वास्थ्य लाभ लेने वाले लोगों को संस्था खुद उनके घरों तक छुड़वाती है। उनका कहना था कि वे लोग हर साल मकर संक्रांति को सेवा उत्सव मनाती है। झुग्गी बस्तियों में सेवा भाव से तरह तरह के निशुल्क शिविर लगाए जाते हैं।
अमित जी ने बताया कि जो लोग देख नहीं सकते या फिर उन्हें आंखो से संबंधित दूसरी परेशानियां हैं तो यह मानकर चलिए यदि हम उनका थोड़ी भी राहत दे देते हैं तो उनके लिए बहुत कुछ कर देते हैं। उनका कहना था आंखों से संबंधित दोष आदमी की जिंदगी में नर्क घोल देते हैं।
तारा संस्था के संजय चौबीसा ने कहा कि कई बार ऐसे मरीज भी उनके शिविर में आते हैं जिनका मोतियाबिंद पक चुका होता है। जब उनकी आंखों का ऑपरेशन होता है और वह देख पाते हैं तो उनको बहुत ख़ुशी होती है। उन्होंने अपनी संस्था के बारे में बताया कि उनके नवादा, गाज़ियाबाद, लोनी, फरीदाबाद, मुंबई और उदयपुर उनके केंद्र हैं। उन्होंने बताया कि दिल्ली में 30000 से ऊपर आंखों के आपरेशन उनकी संस्था ने किये हैं।
शिविर में लोगों ने कार्यक्रम के आयोजकों की इस नीति की सराहना की और कहा कि लोगों को आंखों की रौशनी देना दूसरी जिंदगी देना है। निशुल्क रूप से चश्मे मिलने पर लोगों ने ख़ुशी जाहिर की।